दिल के करीब है वो,
नजदीक आते नही।
छुप छुप कर वे,
नखरे दिखाते है वे।।
स्कूल की गलियो से,
कालेज के कैम्पस तक।
तुम्हारे प्यार की आस में,
चक्कर लगता था।।
ऐसा नही है कि तुम,
हमसे प्यार नही करते हो,
लगता है मुझको,
इजहार करने से डरते हो।।
नजदीक आते नही।
छुप छुप कर वे,
नखरे दिखाते है वे।।
स्कूल की गलियो से,
कालेज के कैम्पस तक।
तुम्हारे प्यार की आस में,
चक्कर लगता था।।
ऐसा नही है कि तुम,
हमसे प्यार नही करते हो,
लगता है मुझको,
इजहार करने से डरते हो।।
6 comments:
ye bhi khoob rahi ijhaare mohabbat ki daastan
मलमलाते हैं वो, इजहार नही करते हैं,
सिर हिलाते है,वो इसरार नही करते हैं।
नैन मटकाते हैं पर बोलते नही कुछ भी-
प्यार करते हैं वो, इकरार नही करते हैं।
sunder hai
बहुत ही सुंदर, अब क्या कहे भाई, वो शायद डरते है,
धन्यवाद
कई बार ये भी होता है
हम इज़हार -ए-तमन्ना नहीं करते
इज़हार -ए-तमन्ना का इक अंदाज़ ये भी है....!!
kya bat hai bahut sundar.
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